स्पष्ट आत्मन साँई लीला (भाग – 2) हमारे पिछ्ले सम्वाद में मैनें साँई बाबा के साथ अपना एक अनुभव शेयर किया था। आज एक और अनुभव मैं आपके साथ शेयर करना चाहती हूँ जो मेरी ही करीबी रिश्ते में अनुभव किया गया। बात नये साल जनवरी 2016 की ही है जब नये साल के दर्शन के लिये मैं अपनी मम्मी के साथ शिर्डी गयी थी। जाना तो मेरी मासी जी ने भी था पर किसी कारण वश वो ना जा सकीं और उन्होनें मम्मी से उनकी तरफ़ से वहाँ दान पेटी में पैसे पहुँचाने को कह दिया। हम जब दर्शन करने के लिये पहुँचे तो उनका फोन आया की उनकी तरफ़ से 1100 रु भेंट करने हैं व उनकी परेशानी दूर करने के लिये बाबा से प्रार्थ्ना करने को कहा पर तब तक हम अंदर पहुँच चुके थे और हमारे व एक दो और पड़ोसियों व दोस्तों के पैसे मिलाकर पैसे पूरे नहीं हो रहे थे तो हमने उनसे पूछ कर सिर्फ़ 500 रु ही दानपात्र में पहुँचा दिये। उधर मासी ने दिल्ली में जो अनुभव किया उसका कोइ तर्क नहीं किया जा सकता। उनके घर के नीचे से अचानक बाबा की पाल्की गुज़री और ठीक उनके घर के नीचे
This blog focuses on spirituality, articles related to spiritual transformation and growth, holistic life, spiritual gurus, and guides. It contains both Hindi and English articles, keeping Indian audiences in mind. (Caution: All the content is the copyright of the Clear Conscience blog and its author; any violations may lead to legal consequences under the Code of Civil Procedure, 1908, Copyright Act, 1957, and the IT Act, 2000. We ask that readers visit our copyright policy page.)